The smart Trick of shiv chalisa in hindi That No One is Discussing
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योगी यति मुनि ध्यान लगावैं। नारद शारद शीश नवावैं॥
त्राहि त्राहि मैं नाथ पुकारो। येहि अवसर मोहि आन उबारो॥
नन्दि गणेश सोहै तहँ कैसे। सागर मध्य कमल हैं जैसे॥
भाल चन्द्रमा सोहत नीके। कानन कुण्डल नागफनी के॥
भगवान शिव जी की चालीसा के बोल निचे दिए गए हैं। श्री शिव चालीसा प्रारम्भ।
अर्थ: हे प्रभु वैसे तो जगत के नातों में माता-पिता, भाई-बंधु, नाते-रिश्तेदार सब होते हैं, लेकिन विपदा पड़ने पर कोई भी साथ नहीं देता। हे स्वामी, बस आपकी ही आस है, आकर मेरे संकटों को हर लो। आपने सदा निर्धन को धन दिया है, जिसने जैसा फल चाहा, आपकी भक्ति से वैसा फल प्राप्त किया है। हम आपकी स्तुति, आपकी प्रार्थना किस विधि से करें shiv chalisa lyricsl अर्थात हम अज्ञानी है shiv chalisa lyricsl प्रभु, अगर आपकी पूजा करने में कोई चूक हुई हो तो हे shiv chalisa in hindi स्वामी, हमें क्षमा कर देना।
ॠनियां जो कोई हो अधिकारी। पाठ करे सो पावन हारी॥
जन्म जन्म के पाप नसावे। अन्त धाम शिवपुर में पावे॥
प्रतिदिन शिव चालीसा का पाठ करने से आपके जीवन की कठनाईया दूर होती हैं ।
भाल चन्द्रमा सोहत नीके। कानन कुण्डल नागफनी के॥
भक्त अपने जीवन में पैदा हुई कठिनाइयों और बाधाओं को दूर करने के लिए श्री शिव चालीसा का नियमित पाठ करते हैं। श्री शिव चालीसा के पाठ से आप अपने दुखों को दूर कर भगवान शिव की असीम कृपा प्राप्त कर सकते हैं। शिव चालीसा का पाठ हमेशा सुबह जल्दी उठकर स्नान करने के बाद करना चाहिए। भक्त प्रायः सोमवार, शिवरात्रि, प्रदोष व्रत, त्रयोदशी व्रत एवं सावन के पवित्र महीने के दौरान शिव चालीस का पाठ खूब करते हैं।
जीत के लंक विभीषण दीन्हा ॥ सहस कमल में हो रहे धारी ।
लै त्रिशूल शत्रुन को मारो। संकट ते मोहि आन उबारो॥
दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने प्राचीन हनुमान मंदिर में पूजा किया